राष्ट्रीय पुरुष आयोग पर निजी विधेयक सहित राज्यसभा में 58 निजी विधेयक पेश

नई दिल्ली, 5 दिसंबर। राज्यसभा में शुक्रवार को गैर-सरकारी कामकाज के दौरान कुल 58 निजी विधेयक पेश किए गए, जिनमें राष्ट्रीय पुरुष आयोग की स्थापना का प्रावधान करने वाला एक महत्वपूर्ण विधेयक भी शामिल रहा। दोपहर के भोजनावकाश के बाद सदन में निजी सदस्यों के विधेयकों पर कार्यवाही शुरू होते ही विभिन्न दलों के सदस्यों ने अपने-अपने विधेयक प्रस्तुत किए, जो सामाजिक, कानूनी, स्वास्थ्य और प्रशासनिक सुधारों से संबंधित थे।

आम आदमी पार्टी के सदस्य डॉ. अशोक मित्तल ने पुरुष आयोग विधेयक पेश किया, जिसमें पुरुषों के अधिकारों और उनके कल्याण के लिए एक केंद्रीय आयोग गठित करने का प्रस्ताव है। विधेयक में पुरुषों से जुड़े मुद्दों की जांच, शिकायत निवारण तंत्र की सिफारिश और मौजूदा कानूनों की पुरुषों पर पड़ने वाले प्रभावों की समीक्षा जैसे प्रावधान शामिल हैं। मित्तल ने दो अन्य निजी विधेयक भी पेश किए — स्वास्थ्य देखभाल सेवाओं का अधिकार विधेयक और आवारा एवं जंगली पशुओं के हमले (निवारण और कल्याण) विधेयक

तृणमूल कांग्रेस के मोहम्मद नदीमुल हक ने तीन निजी विधेयक सदन के समक्ष रखे। इनमें राष्ट्रीय मीडियाकर्मी सुरक्षा समिति विधेयक, सरोगेसी विधि (संशोधन) विधेयक और महिलाओं का कार्यस्थल पर लैंगिक उत्पीड़न (निवारण, प्रतिषेध और प्रतितोष) संशोधन विधेयक शामिल हैं। इन विधेयकों का उद्देश्य मीडिया कर्मियों की सुरक्षा को संस्थागत रूप देना, सरोगेसी कानूनों में सुधार करना और कार्यस्थलों पर महिलाओं की सुरक्षा को सुदृढ़ करना है।

विभिन्न राजनीतिक दलों के सदस्यों ने भी अपनी ओर से कई विधेयक प्रस्तुत किए। भाजपा के डॉ. भीम सिंह ने दो विधेयक पेश किए, जबकि भारत राष्ट्र समिति के के.आर. सुरेश रेड्डी ने एक विधेयक रखा। कांग्रेस की जे.बी. माथेर हीशम ने दो निजी विधेयक पेश किए। तृणमूल कांग्रेस के साकेत गोखले ने दो, बीजू जनता दल के सस्मित पात्रा ने तीन, और मनोनीत सदस्य सुधा मूर्ति ने एक विधेयक प्रस्तुत किया।

मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के वी. शिवदासन ने तीन निजी विधेयक रखे, जबकि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एसपी) की फौजिया खान ने भी तीन विधेयक प्रस्तुत किए। तृणमूल कांग्रेस के डेरेक ओ’ब्रायन ने तीन और भाजपा के अजीत माधवराव गोपछड़े ने भी तीन विधेयक सदन के समक्ष रखे। माकपा के जॉन ब्रिटास, राजद के ए.डी. सिंह, भाजपा के सुजीत कुमार, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के संदोष कुमार पी., भाजपा की मेधा विश्राम कुलकर्णी, द्रमुक के आर. गिरिराजन, द्रमुक की कानिमोझी एनवीए सोमू, स्वाति मालीवाल, भाजपा के धनंजय भीमराव महादिक, भाजपा के ईरण्ण कडाडी सहित आम आदमी पार्टी के राघव चड्ढा ने भी अपने-अपने निजी विधेयक पेश किए।

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