लखनऊ, 15 अक्टूबर – समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने बुधवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के ‘स्वदेशी’ अभियान पर सवाल उठाते हुए कहा कि अगर भाजपा वाकई मन से स्वदेशी है, तो चीन जैसे देश, जो भारतीय बाजार पर कब्जा जमाए बैठा है, उस पर टैरिफ क्यों नहीं लगाती।
यह बयान उन्होंने लखनऊ में एक प्रेस वार्ता में दिया, जहां उन्होंने केंद्र और राज्य सरकार पर एक के बाद एक कई गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने भाजपा के ‘स्वदेशी’ नारे को “गुमराह करने वाला चूरन” बताते हुए कहा, “भाजपा के मुंह पर तो स्वदेशी है, लेकिन मन में विदेशी। अगर अमेरिका चीन पर टैरिफ लगा सकता है, तो भारत सरकार क्यों नहीं?”
नदियों की सफाई या बजट की सफाई?
अखिलेश यादव ने उत्तर प्रदेश सरकार पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए कहा कि नदियों की सफाई के नाम पर बजट की “सफाई” की जा रही है। उन्होंने गोमती नदी सफाई परियोजना का उदाहरण देते हुए कहा, “सरकार को अब जाकर गोमती की याद आई, जब जाने का वक्त आ गया है। ये नदियां नहीं, बजट साफ कर रहे हैं।”
किसानों के मुद्दे भी उठाए
पूर्व मुख्यमंत्री ने राज्य सरकार पर किसानों की अनदेखी का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि डीएपी खाद और अन्य जरूरी संसाधनों की भारी किल्लत है, गन्ने का दाम नहीं बढ़ाया गया, और सरकार ने सिर्फ उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाया है। “सरकार किसानों की जमीन लूट रही है, और पूंजीपतियों को लैंड बैंक बना रही है,” उन्होंने कहा।
मुठभेड़ पर तंज
कानपुर में एक वकील अखिलेश दुबे का जिक्र करते हुए यादव ने राज्य सरकार की मुठभेड़ नीति पर कटाक्ष किया। उन्होंने कहा कि जब सरकार को किसी के खिलाफ सख्ती करनी होती है, तो एनकाउंटर किया जाता है, लेकिन “अखिलेश दुबे का एनकाउंटर क्यों नहीं हुआ?” उन्होंने यह भी दावा किया कि “सरकार मुठभेड़ों के जरिए डर का माहौल बनाकर दिखाना चाहती है कि कानून-व्यवस्था ठीक हो रही है।”
बिहार और गठबंधन पर बयान
बिहार चुनाव को लेकर अखिलेश यादव ने कहा कि जो बुलाएगा, वे वहां प्रचार के लिए जाएंगे। साथ ही उन्होंने विधान परिषद के शिक्षक चुनाव में कांग्रेस के साथ गठबंधन बनाए रखने की बात दोहराई।
