तालाब-चेकडैम निर्माण को जन आंदोलन बनाएं: सीएम योगी

लखनऊ, 4 अक्टूबर : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य में जल संकट को गंभीर मुद्दा मानते हुए तालाबों और चेकडैम के निर्माण एवं जीर्णोद्धार को एक जन आंदोलन के रूप में चलाने का आह्वान किया है। उन्होंने कहा कि जल संरक्षण सिर्फ एक स्थानीय आवश्यकता नहीं, बल्कि राष्ट्रीय प्राथमिकता बन चुकी है।

यह बातें उन्होंने शनिवार को नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति विभाग (लघु सिंचाई) की उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक में कहीं। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि ‘एक पेड़ माँ के नाम’ अभियान की तर्ज पर चेक डैम, तालाब और ब्लास्टकूप जैसी संरचनाओं के निर्माण को जनभागीदारी से जोड़ते हुए बड़े पैमाने पर शुरू किया जाए।

मुख्यमंत्री ने बताया कि अब तक राज्य में 6,448 चेकडैम का निर्माण किया जा चुका है, जिससे लगभग 1.29 लाख हेक्टेयर अतिरिक्त सिंचाई क्षमता विकसित हुई है। उन्होंने कहा कि इन प्रयासों से प्रति वर्ष 10,000 हेक्टेयर मीटर से अधिक भूजल पुनर्भरण संभव हुआ है और किसानों को साल में दो से तीन फसलें उगाने का मौका मिला है।

उन्होंने कहा कि तालाब और चेक डैम केवल जल संचयन की संरचनाएं नहीं हैं, बल्कि ये समेकित जल प्रबंधन का हिस्सा हैं। बड़े बांधों की तुलना में ये किफायती, प्रभावी और स्थानीय समाधान हैं। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि लोगों को इसके लाभों से अवगत कराकर इस अभियान से जोड़ने की रणनीति बनाई जाए।

मुख्यमंत्री ने वर्षा जल संचयन (रेन वाटर हार्वेस्टिंग) पर भी विशेष बल देते हुए कहा कि प्रदेश के हर 100 वर्ग मीटर से बड़े भवनों में यह व्यवस्था अनिवार्य रूप से होनी चाहिए। उन्होंने इसे शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्रों के लिए जल संरक्षण का निर्णायक कदम बताया।

योगी ने कहा कि जिस तरह वृक्षारोपण एक जनांदोलन बना, उसी तरह जल संरक्षण के प्रयास भी सामूहिक संकल्प से आगे बढ़ें। इससे न केवल जल संकट का समाधान होगा, बल्कि कृषि, मत्स्य पालन और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को भी नई गति मिलेगी।

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