ठाकुर ने लोकसभा में ई-सिगरेट पीने वाले तृणमूल सांसद के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई

नई दिल्ली, 12 दिसंबर – भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद अनुराग ठाकुर ने शुक्रवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को लिखित शिकायत सौंपकर सदन के भीतर कथित तौर पर ई-सिगरेट पीने वाले एक तृणमूल कांग्रेस सांसद के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।

ठाकुर ने बृहस्पतिवार को लोकसभा में इस मुद्दे को उठाया था, हालांकि उन्होंने किसी सांसद का नाम नहीं लिया। अपनी शिकायत में उन्होंने कहा कि तृणमूल कांग्रेस के एक सांसद को सदन की कार्यवाही के दौरान खुलेआम इलेक्ट्रॉनिक सिगरेट का इस्तेमाल करते हुए देखा गया और यह कृत्य सदन में मौजूद अन्य सदस्यों की नजरों के सामने था।

भाजपा सांसद ने लिखा कि लोकसभा जैसी पवित्र संस्थान के भीतर प्रतिबंधित पदार्थ और उपकरण का खुलेआम उपयोग न केवल संसदीय मर्यादा और अनुशासन का उल्लंघन है, बल्कि यह कानूनन भी अपराध है। उन्होंने कहा कि ऐसे समय में जब सरकार ने तंबाकू और निकोटीन उत्पादों के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है, इस प्रकार का व्यवहार सदन की गरिमा को ठेस पहुंचाता है और युवाओं के लिए गलत संदेश स्थापित करता है।

ठाकुर ने लोकसभा अध्यक्ष से अनुरोध किया कि नियमों और कानून के इस उल्लंघन का तत्काल संज्ञान लिया जाए और सदन की उचित समिति या प्रणाली के माध्यम से मामले की जांच कर उचित अनुशासनात्मक कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। उन्होंने यह भी कहा कि यह कार्रवाई रिकॉर्ड में दर्ज होनी चाहिए ताकि सदन की गरिमा और मर्यादा बनी रहे।

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने बृहस्पतिवार को ठाकुर द्वारा उठाए गए इस मुद्दे पर कहा था कि यदि लिखित शिकायत प्राप्त होती है, तो इस मामले में कार्रवाई की जाएगी।

देश में कुछ साल पहले ई-सिगरेट पर प्रतिबंध लगा दिया गया था।

इस पर प्रतिक्रिया देते हुए तृणमूल सांसद कीर्ति आजाद ने ठाकुर पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि सदन में इस मुद्दे को उठाकर लोकसभा का समय बर्बाद किया गया। संसद परिसर में पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा, ‘‘अगर आप किसी सांसद या पार्टी के खिलाफ आरोप लगाते हैं, तो उसे साबित करना होगा। लोकसभा के नियम-कानून सभी के लिए लागू हैं।’’

आजाद ने सवालिया लहजे में कहा, ‘‘अगर मैं अनुराग ठाकुर या भाजपा सांसदों पर किसी कमीशन का आरोप लगाऊँ, तो मुझे सबूत देना होगा। ठाकुर केंद्रीय मंत्री रह चुके हैं; क्या उन्हें नियम-कानून की जानकारी नहीं है?’’

उन्होंने यह भी कहा कि लोकसभा में शून्यकाल सभी सांसदों को अपने मुद्दे उठाने का अवसर देता है, लेकिन ठाकुर ने इस समय का उपयोग सदन का समय बर्बाद करने के लिए किया। आजाद ने ठाकुर से पूछा कि आखिर उस सांसद का नाम क्यों नहीं लिया गया, जिस पर आरोप लगाया गया है।

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