लोगों की पसंद का विरोध करेंगे तो वोट कैसे मिलेंगे? : अमित शाह का राहुल गांधी पर तंज

अहमदाबाद, 28 दिसंबर। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कांग्रेस और उसके नेता राहुल गांधी पर तीखा हमला करते हुए कहा कि जो पार्टी जनता को पसंद आने वाले हर फैसले का विरोध करती है, उसे चुनाव में वोट नहीं मिल सकते। उन्होंने चुटकी लेते हुए कहा कि यह “सरल तर्क” राहुल गांधी को समझाना उनकी क्षमता से बाहर है, क्योंकि कांग्रेस के नेता भी इसे समझाने में नाकाम रहे हैं।

रविवार को अहमदाबाद शहर के पास नवी वंजार गांव में आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए शाह ने कहा कि हाल ही में लोकसभा में हुई बहस के दौरान राहुल गांधी ने उनसे एक अजीब सवाल पूछा कि उनकी पार्टी हर चुनाव में क्यों हारती है। शाह ने कहा, “राहुल गांधी ने यह सवाल जनता से पूछने के बजाय मुझसे पूछा। राहुल बाबा, अगर आप हमारी शुरू की गई पहलों को समझेंगे तो आपको इसका जवाब खुद मिल जाएगा।”

भाजपा के वरिष्ठ नेता ने तंज कसते हुए कहा कि राहुल गांधी को हार से थकना नहीं चाहिए, क्योंकि आगामी तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनावों में भी कांग्रेस की हार तय है। उन्होंने दावा किया कि वर्ष 2029 के लोकसभा चुनावों में भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारतीय जनता पार्टी एक बार फिर जीत दर्ज करेगी।

अमित शाह ने कहा कि भाजपा की सफलता का कारण यह है कि पार्टी के निर्णय और नीतियां जनता की भावनाओं और अपेक्षाओं से जुड़ी हुई हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने राम मंदिर निर्माण, आतंकवादियों पर सर्जिकल स्ट्राइक, अनुच्छेद 370 हटाने, समान नागरिक संहिता, तीन तलाक विरोधी कानून और बांग्लादेशी घुसपैठियों को बाहर निकालने जैसे मुद्दों का विरोध किया। उन्होंने सवाल उठाया, “अगर आप लोगों की पसंद का विरोध करेंगे, तो वोट कैसे मिलेंगे?”

कार्यक्रम के दौरान अमित शाह ने नवी वंजार के 173 निवासियों को भूमि स्वामित्व प्रमाण पत्र (सनद) सौंपे। ये सभी लाभार्थी मूल रूप से साबरमती नदी के किनारे स्थित वंजार गांव के निवासी थे, जिन्हें 1973 की विनाशकारी बाढ़ के बाद नवी वंजार में बसाया गया था। शाह ने कहा कि कांग्रेस शासन के दौरान इन लोगों का पुनर्वास तो किया गया, लेकिन 50 वर्षों तक उन्हें भूमि का अधिकार नहीं मिला।

इस अवसर पर गृह मंत्री ने ‘वेस्टर्न ट्रंक लाइन’ का भी उद्घाटन किया। यह जल निकासी नेटवर्क शेला, दक्षिण बोपाल, शांतिपुरा और थलतेज जैसे तेजी से विकसित हो रहे इलाकों के लगभग 15 लाख निवासियों के सीवेज प्रबंधन के लिए तैयार किया गया है।

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