दिवाली के बाद सोना-चांदी में बड़ी गिरावट, ग्राहकों की बढ़ी खरीदारी — ज्वेलरी बाजार में 15% तक उछाल की उम्मीद

दिवाली के बाद भारतीय सर्राफा बाजार में सोना-चांदी की कीमतों में भारी गिरावट देखने को मिली है। इंडिया बुलियन एंड ज्वेलर्स एसोसिएशन (IBJA) के अनुसार, 22 अक्तूबर को 24 कैरेट सोने का भाव 3,726 रुपये टूटकर 1,23,907 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गया। वहीं चांदी के दामों में 10,549 रुपये की गिरावट दर्ज की गई, जिससे इसका भाव घटकर 1,52,501 रुपये प्रति किलो रह गया। इस तरह सोना अपने ऑल टाइम हाई से 5,677 रुपये और चांदी 25,599 रुपये सस्ती हो चुकी है।

मंगलवार को आई गिरावट पिछले पांच साल में एक ही दिन में सोने में दर्ज की गई सबसे बड़ी गिरावट रही। यह अगस्त 2020 के बाद का सबसे निचला स्तर है। विशेषज्ञों के अनुसार, निवेशकों द्वारा मुनाफावसूली और अंतरराष्ट्रीय बाजार में स्थिरता लौटने के संकेतों के चलते यह गिरावट दर्ज की गई।

शादी-ब्याह सीजन में बढ़ी मांग
सोना-चांदी की कीमतों में गिरावट के बाद बाजारों में ग्राहकों की भीड़ बढ़ गई है। दिवाली के बाद शुरू हुए शादी-ब्याह के सीजन में लोग इस गिरावट का फायदा उठा रहे हैं। कोठारी ब्रदर्स के एम. कोठारी ने बताया कि हाल में लंदन बैंक से सोने-चांदी की सप्लाई बाधित होने से कीमतों में तेजी आई थी, लेकिन अब सप्लाई सामान्य हो गई है, जिससे कीमतें नीचे आई हैं। उन्होंने कहा, “ग्राहक कीमतों में आई गिरावट का लाभ उठा रहे हैं। आभूषण बिक्री में 10 से 15 प्रतिशत तक की वृद्धि की उम्मीद है।”

गिरावट के पीछे के कारण
एलकेपी सिक्योरिटीज के कमोडिटी और करेंसी वीपी (रिसर्च एनालिस्ट) जतीन त्रिवेदी के अनुसार, घरेलू बाजार में सोने की कीमतें 132,294 रुपये प्रति 10 ग्राम के उच्च स्तर से घटकर 123,907 रुपये प्रति 10 ग्राम रह गई हैं, यानी करीब 3 प्रतिशत से अधिक की गिरावट दर्ज की गई। यह गिरावट मुख्य रूप से मुनाफावसूली, डॉलर में मजबूती और अमेरिका-चीन व्यापार संबंधों में सुधार के संकेतों के चलते आई है। साथ ही, भारत और अमेरिका के बीच चल रही सकारात्मक व्यापार वार्ता ने भी सोने की निवेश मांग को अस्थायी रूप से कमजोर किया है।

दीर्घकालिक दृष्टि से सकारात्मक संकेत
हालांकि जानकारों का मानना है कि लंबी अवधि में सोने की कीमतों में दोबारा तेजी आ सकती है। यदि अमेरिकी फेडरल रिजर्व ब्याज दरों में कटौती करता है या वैश्विक भू-राजनीतिक तनाव बढ़ता है, तो निवेशक फिर से सुरक्षित निवेश के रूप में सोने की ओर रुख कर सकते हैं। विशेषज्ञों का सुझाव है कि मौजूदा गिरावट शादी-ब्याह और निवेश दोनों के लिए एक बेहतर अवसर है। निवेशकों को पोर्टफोलियो में विविधता लाने और अनुशासित दृष्टिकोण अपनाने की सलाह दी जा रही है।

दिवाली के बाद आई यह गिरावट जहां निवेशकों के लिए अल्पकालिक चिंता का विषय है, वहीं उपभोक्ताओं के लिए यह सोने-चांदी खरीदने का सुनहरा मौका बन गया है।

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