कोलकाता के ईडन गार्डन्स पर खेला गया पहला टेस्ट टीम इंडिया के लिए कड़वी याद छोड़ गया। कप्तान तेम्बा बावुमा की जुझारू बल्लेबाजी और अनुभवी ऑफ स्पिनर साइमन हार्मर के घातक spell की बदौलत दक्षिण अफ्रीका ने भारत को तीसरे ही दिन 30 रन से हराकर भारतीय जमीन पर 15 साल में पहली टेस्ट जीत दर्ज की। दो मैचों की श्रृंखला में मेहमान टीम 1-0 से आगे हो गई है।
भारत को 124 रन का आसान दिखने वाला लक्ष्य मिला था, लेकिन टीम 35 ओवर में केवल 93 रन पर सिमट गई। कप्तान शुभमन गिल गर्दन में गंभीर अकड़न के कारण दूसरी पारी में बल्लेबाजी के लिए भी नहीं उतरे। उनकी अनुपस्थिति में केवल वाशिंगटन सुंदर (92 गेंद पर 31 रन) ही टिककर खेल पाए, बाकी बल्लेबाज टर्निंग ट्रैक पर संघर्ष करते नजर आए।
यह भारत की घरेलू सरजमीं पर पिछले छह टेस्ट मैचों में चौथी हार है—जिसमें पिछले साल न्यूजीलैंड के खिलाफ टर्निंग विकेटों पर 0-3 की हार भी शामिल है। कार्यवाहक कप्तान ऋषभ पंत ने भी स्वीकार किया कि टीम को यह लक्ष्य हासिल करना चाहिए था।
हार्मर (21 रन देकर 4 विकेट), केशव महाराज (2 विकेट) और मार्को यानसन (2 विकेट) ने भारतीय बल्लेबाजी को ध्वस्त कर दिया। यानसन ने शुरुआत में यशस्वी जायसवाल और के. एल. राहुल को आउट कर भारत को बैकफुट पर ला दिया। एडेन मार्क्रम ने वाशिंगटन सुंदर का अहम विकेट लेकर भारत की उम्मीदों को लगभग समाप्त कर दिया।
इससे पहले दक्षिण अफ्रीका ने अपनी दूसरी पारी में 153 रन बनाए। कप्तान बावुमा ने नाबाद 55 रन की कीमती पारी खेली, जो पूरे मैच का अकेला अर्धशतक रहा। भारत की ओर से रविंद्र जडेजा ने 4 विकेट, जबकि मोहम्मद सिराज और कुलदीप यादव ने 2-2 विकेट लिए।
पहली पारी में भारत ने 189 रन बनाकर 30 रन की बढ़त जरूर हासिल की थी, लेकिन दूसरी पारी में बल्लेबाजों की नाकामी ने मैच पलट दिया। बावुमा और कोर्बिन बॉश (25 रन) की 44 रन की साझेदारी भी भारत के लिए नुकसानदेह साबित हुई।
बुमराह को उस छोर से गेंदबाजी न देना, जहां से उन्होंने पहली पारी में पांच विकेट लिए थे, टीम की रणनीति पर सवाल खड़े करता है। बावुमा ने बुमराह की ही गेंद पर फाइन लेग की ओर चौका लगाकर अपना अर्धशतक पूरा किया।
दक्षिण अफ्रीका अब गुवाहाटी में होने वाले दूसरे टेस्ट में मजबूत मनोबल के साथ उतरेगा, जबकि भारत को अपनी बल्लेबाजी और रणनीति पर गंभीर पुनर्विचार करना होगा।
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